PTB News “शिक्षा” चंडीगढ़ : शिक्षा मंत्री गुरमीत सिंह मीत हेयर के बरनाला स्थित घर के बाहर टीचरों के प्रदर्शन से आम आदमी पार्टी की सरकार भड़क गई है। शिक्षा विभाग के निदेशक ने सभी टीचरों की छुटि्टयां कैंसिल करने का आदेश दे दिया है। उन्होंने राज्य के सभी जिला शिक्षा अफसरों को तुरंत यह अनुशासनिक कार्रवाई करने के लिए कहा है। इसकी रिपोर्ट भी तलब की गई है। इस आदेश में कहा गया कि 4 अप्रैल को टीचर घरेलू या जरूरी काम के लिए छुट्टी लेकर शिक्षा मंत्री के घर के बाहर धरने में शामिल हुए। उनकी छुट्टी कैंसिल करते हुए नियम के अनुसार कार्रवाई की जाए। ऐसा न हुआ तो जिम्मेदारी जिला शिक्षा अफसरों की होगी।
वहीं कांग्रेस विधायक अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग ने CM भगवंत मान और अरविंद केजरीवाल से पूछा कि यह कैसा बदलाव है, जहां अपने हक के लिए लड़ना भी गुनाह है?।शिक्षा मंत्री गुरमीत मीत हेयर के घर के बाहर एलिमेंटरी टीचर्स ट्रेनिंग (ETT) अध्यापकों ने धरना दिया था। वह सरकार से डेपुटेशन रद्द करने की मांग कर रहे हैं। उनकी सरकार से मांग है कि डेपुटेशन पर ट्रांसफर की पॉलिसी को रद्द किया जाए। इसकी वजह से टीचरों को अपनी ओरिजनल पोस्टिंग से दूर दूसरी जगह डेपुटेशन पर काम करना पड़ रहा है। हालांकि टीचरों का यह धरना अब खत्म हो चुका है।
डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट के पंजाब प्रधान विक्रम देव ने कहा कि यह अलोकतांत्रिक फैसला है। आम आदमी पार्टी ने चुनाव में दूसरी पार्टियों के मुकाबले नरमी दिखाने का ऐलान किया था। इसके उलट इस तरह की सख्ती की जा रही है। सरकार को तो तुरंत टीचरों से मीटिंग कर उनकी मुश्किल सुननी चाहिए थी। उन्होंने इस आदेश को वापस लेने की मांग की। शिक्षा को लेकर आम आदमी पार्टी हमेशा दावे करती रही है। पंजाब चुनाव में भी शिक्षा बड़ा मुद्दा रहा। खुद संयोजक अरविंद केजरीवाल दिल्ली से मोहाली में टीचरों के धरने में शामिल होने आए। उन्होंने दावा किया था कि टीचर टंकियों या धरनों में नहीं बल्कि स्कूल में बच्चों को पढ़ाएंगे। हालांकि टीचरों को धरने से रोकने के लिए इस तरह के फरमान से टीचर भी हैरान हैं।