क्या? दिवाली के पटाखों में दबकर रह गया जालंधर का फर्जी डिग्री मामला,
शहर के नामीं ट्रैवल एजेंटों को थाने बुलाकर क्या की गई सिर्फ खानापूर्ति या होगी जल्द कार्रवाई,
क्या चार को ही पुलिस ने भेजना था जेल, जिन्होंने लोगों से बटोरे ठगी कर लाखों या फिर जल्द लगेगा बाकियों का नंबर,
.PTB News Inside Story जालंधर (एडिटर-इन-चीफ) राणा हिमाचल : पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के दिशा-निर्देशों के बाद पंजाब पुलिस प्रमुख गौरव यादव ने पंजाब के सभी पुलिस कमिश्नरों व एसएसपीस को अपने जिलों में अवैध ट्रैवल एजेंटों से लेकर उन सभी ठग ट्रैवल एजेंटों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे जो भ्रामक विज्ञापन इंस्टाग्राम और फेसबुक पर डालकर लोगों को अपनी और आकर्षित करके भोले भाले लोगों को अपना शिकार बनाकर लाखों की ठगी करते हैं। इस मामले में पंजाब के ए.डी.जी.पी. (एन.आर.आई. मामले)
.प्रवीण कुमार सिन्हा व उनकी टीम ऐसे ही अवैध कई ट्रैवल एजेंटों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई भी कर चुकी है। इसी कड़ी में जालंधर कमिश्नरेट पुलिस ने बीती 29 सितम्बर 2024 को भी एक बड़ी कार्रवाई करते हुए एक फर्जी डिग्री बनाने वाले गिरोह का भंडाफोड़ करके खूब वाहवाही लूटी थी। जिसकी जानकारी खुद जालंधर के DCP IPS Aditya ने मीडिया को प्रैस कॉन्फ्रेंस करके दी भी थी, लेकिन आज जब उनसे PTB News ने इस मामले में सवाल पूछा तो उन्होंने कहा कि वह तब DCP – 2 थे और अब वह DCP Headquater हैं, जबकि वह इस प्रेंस कॉन्फ्रेंस के दौरान भी डीसीपी हेडक्वार्टर ही थे,
.उन्होंने कहा PTB News को बताया की उनके पास इस मामले के संबंध में कोई भी update अब मौजूद नहीं है। खेर! आपको बता दें की उस समय जालंधर पुलिस ने इस पुरे रैकेट का भंडाफोड़ करते हुए दो आरोपियों को गिरफ्तार किया था, जिनके पास से पुलिस ने 196 फर्जी डिग्रियां बरामद की हैं। इसके साथ ही 53 स्टांप, 16 पासपोर्ट, छह लैपटॉप, तीन प्रिंटर, एक स्टांप बनाने की मशीन और आठ मोबाइल फोन बरामद करने का दावा किया था और प्रैस कॉन्फ्रेंस के बाद जिन-जिन ट्रैवल एजेंटों का इस रैकेट के साथ सम्पर्क था उनके खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की बात कही थी।
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उन्होंने मीडिया को यह भी बताया था कि इस गिरोह का नेटवर्क पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, उत्तर प्रदेश समेत दस राज्यों में फैले होने की आशंका है। डीसीपी हेडक्वार्टर आदित्य ने बताया था कि पुलिस को सूचना मिली थी कि शहर में एक गिरोह चल रहा है, जो फर्जी डिग्रियों का कारोबार कर रहा है। सूचना के आधार पर पुलिस ने जालंधर के ग्रीन पार्क की कोठी नंबर 96ए पर छापा मारा तो कुल 196 फर्जी डिग्रियां और बाकी सामान मिला। यहां से पुष्कर गोयल निवासी फत्तू ढींगा (कपूरथला) और वरिंदर कुमार को गिरफ्तार किया गया।
.आरोपियों से उस समय पुलिस ने इंजीनियरिंग, मेडिकल, मैनेजमेंट समेत कई कोर्स की फर्जी डिग्रियां बरामद हुई हैं। जांच में फर्जी डिग्रियों के आपूर्तिकर्ताओं के एक राष्ट्रव्यापी नेटवर्क का खुलासा हुआ है। डीसीपी ने कहा कि मामले की जांच की जा रही है। इस मामले के मुख्य आरोपी पुष्कर गोयल के खिलाफ पहले से ही दो मामले लंबित हैं। डीसीपी ने कहा था कि यह मामला जालंधर के सदर थाने में दर्ज किया गया है। डीसीपी हेडक्वाटर के बाद यह जाँच जालंधर के मौजूदा DCP-1 तेजवीर सिंह हुंदल को सौंपी गई और
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उनकी देख रेख में इसकी जाँच जालंधर के ACP PPS भरत मसीह (स्पेशल ब्रांच) अभी तक कर रहे हैं, लेकिन जब PTB News ने DCP-1 तेजवीर सिंह हुंदल को सम्पर्क किया तो उन्होंने कहा की वह आज वह पंजाब के मुख्यमंत्री के प्रोग्राम में व्यस्त हैं आप इस मामले में जाँच कर रहे अधिकारी ACP भरत मसीह से (स्पेशल ब्रांच) सम्पर्क कर लें। लेकिन आपको यह भी ACP PPS भरत मसीह इस मामले में Gujral Consultant & Immigration Services, 3rd Floor, Bedi Paradise, Opp. Residency Hotel, Near Bus Stand, Jalandhar के मालिक ब्रह्मराज उर्फ़ सन्नी गुजराल को जालंधर को ही गिरफ्तार कर पाई थी, लेकिन उसे भी दीपावली से पहले माननीय अदालत ने जमानत दे दी थी।
.लेकिन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दीपावली से पहले पुलिस ने पुष्कर गोयल जिसके बयानों पर ही Gujral Consultant & Immigration Services, 3rd Floor, Bedi Paradise, Opp. Residency Hotel, Near Bus Stand, Jalandhar के मालिक ब्रह्मराज उर्फ़ सन्नी गुजराल को गिरफ्तार किया था के साथ-साथ शहर के कई ट्रैवल एजेंटों को नोटिस भेजा और जाँच के लिए थाने में बुलाया, जिनमें शहर के बड़े ट्रैवल एजेंट भी शमिल थे। सूत्रों की मानें तो इन सभी में बड़े ट्रैवल एजेंटों से दीपावली से पहले AGI पुलिस चौकी में देर रात तक पूछताछ की गई और घर भेज दिया गया, जिसके चर्चे दीपावली तक पुरे शहर में होते रहे। यही नहीं इसी दौरान पुलिस की टीमों ने Kingdom Consultant Jalandhar के ऑफिस में दबिश भी दी और Immigration Industry में इसी बात को लेकर दिवाली तक डर का माहौल बना रहा।
अब सवाल यह उठता है की क्या जालंधर पुलिस की जाँच टीम में शामिल अधिकारीयों ने निरपख्ता से पुष्कर गोयल यानि फर्जी डिग्री मामले में जुटे सबूतों के आधार पर जिन शहर के ट्रैवल एजेंटों को नोटिस भेजकर थाने बुलाया और देर रात छोड़ भी दिया का सारा मामला जोकि DCP की प्रैस कॉन्फ्रेंस तक हाईप्रोफाइल था पुलिस अधिकारीयों ने सॉल्व कर लिया है, जोकि नकोदर चौक के पास स्थित एक Point से शुरू हुआ था, जिसमें पुलिस ने 196 फर्जी डिग्रियां, 53 स्टांप, 16 पासपोर्ट, छह लैपटॉप, तीन प्रिंटर, एक स्टांप बनाने की मशीन और आठ मोबाइल फोन बरामद करके थाना नंबर 2 में लेकर गई थी और उसी Point से पुलिस ने स्टाफ को भी राउंडउप किया था जिनमें से एक दो को छोड़कर पुलिस ने देर रात सभी को छोड़ दिया था।
.इसके बाद पुलिस ने उसी पॉइंट में काम करने वाली एक महिला को दोषी पाया और उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। हैरानी की बात तो यह है पुलिस ने प्रैस कॉन्फ्रेंस दौरान ना तो उक्त Point का ना तो जीकर किया और ना ही उक्त एजेंट के ऊपर कोई अभी तक कार्रवाई। यही नहीं एक महीने बाद भी पुलिस के हाथ सच में असफलता है या फिर दिवाली के पटाखों के धमाके के बीच दबी अधूरी कहानी? पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान व DGP पंजाब गौरव यादव इस फर्जी डिग्री मामले में अगर खुद हस्तक्षेप करें तो दूध का दूध और पानी का पानी हो सकता है साथ ही अधूरी जाँच कर ठंडे बस्ते में डालने वाले अधिकारीयों के खिलाफ हो कार्रवाई, ताकि पंजाब के मुख्यमंत्री व DGP पंजाब पर कोई ऊँगली ना उठा सके।
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