नहीं मानी सरकार तो जाने किसानों का अगला क्या है प्लान,
PTB Big न्यूज़ जालंधर / लुधियाना : पंजाब में जालंधर-पानीपत नेशनल हाईवे दूसरे दिन भी बंद है। जालंधर में गन्ना किसान हाईवे पर धरना लगाकर बैठे हैं। उन्होंने बीती रात भी हाईवे पर ही गुजारी। उनकी आज शाम के वक्त सरकार से मीटिंग होगी। अगर सरकार से मीटिंग नहीं हुई तो किसान जालंधर से लुधियाना जाते रास्ते में धन्नोवाली के पास से ट्रेनें भी रोकेंगे। वहीं हाईवे बंद होने से अमृतसर और लुधियाना की डायरेक्ट कनेक्टिविटी टूट गई है।
.पुलिस ने जालंधर से लुधियाना जाने के लिए रामामंडी से रूट को डायवर्ट कर दिया गया है। जालंधर के रामामंडी में स्थित तलहण गांव से ट्रैफिक को निकाला जा रहा है। ये रोड तलहण से होते हुए फगवाड़ा के चहेड़ू पुल के पास निकलता है। वहीं दिल्ली, पानीपत, अंबाला और लुधियाना से आने वाले ट्रैफिक को जालंधर कैंट के परागपुर के पास रोका जा रहा है। ट्रैफिक पुलिस वाहनों को परागपुर गांव के अंदर से निकाल रही है। ये ट्रैफिक सिटी के अंदर निकलता है, जिससे शहर के ट्रैफिक का लोड भी बढ़ गया है।
.यह ट्रैफिक सिटी के अंदर से उन्हें बीएसएफ चौक के पास निकाला जा रहा है। जहां से दोबारा ट्रैफिक हाईवे पर निकल रहा है। इससे पहले रात को सर्विस लेन खोल दी गई थी, मगर फिर से सुबह 7 बजे उसे बंद कर दिया गया। संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसान संगठन गन्ने के रेट में बढ़ोतरी और अन्य मांगों को लेकर हाईवे पर बैठे हुए हैं। मंगलवार को देर शाम जालंधर प्रशासन के अधिकारी किसानों से भी मिले थे। जहां उन्होंने किसानों से उनकी बात सरकार तक पहुंचा कर जल्द से जल्द उनके मांगे पूरी करने का आश्वासन दिया था।
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आश्वासन देने के बाद भी धरना खत्म नहीं किया गया था। किसानों ने मंगलवार को जालंधर-लुधियाना हाईवे पर टेंट लगा लिए थे। दूर-दूर से किसान जत्थेबंदियां धरने पर पहुंची। देर रात तक पुलिस हाईवे के ट्रैफिक को लेकर मशक्कत करती रही। बता दें कि हाईवे पर जाम लगने के कारण शहर में भी ट्रैफिक का बुरा हाल था। इससे पहले प्रदर्शन के लिए बीकेयू दोआबा प्रदेश अध्यक्ष मंजीत सिंह राय ने अधिक से अधिक किसानों से शामिल होने की अपील की थी।
.मीडिया से बातचीत में किसान नेता ने कहा था कि कोई भी किसान हाईवे बंद करने के हक में नहीं है। सरकार को जगाने के लिए ऐसा कदम उठाना पड़ रहा है। सरकार की वजह से गन्ना किसानों को काफी नुकसान हो रहा है। सरकार मिल चलाने नहीं दे रही है। जिससे किसानों को काफी नुकसान हो रहा है। क्योंकि किसानों की गन्ने की फसल तैयार है और सरकार ने मिलें अभी तक नहीं खोली। ना ही गन्ने के रेट बढ़ाए जा रहे हैं।
.किसानों ने कहा- सरकार के साथ इन मुद्दों को लेकर मीटिंग भी की गई। मगर उनके द्वारा कोई भी निष्कर्ष नहीं निकाला गया। जिसके चलते मजदूरी में हाईवे जाम करना पड़ा। किसान बोले कि हमारी किसी को परेशान करने की कोई मंशा नहीं है। सुरक्षा के लिए जालंधर कमिश्नरेट और देहात पुलिस ने मुलाजिमों को तैनात कर दिया गया है। किसानों ने मांग की है कि सरकार जितनी देर तक मांगे नहीं पूरी करती, उतनी देर तक विभिन्न शहरों में ये प्रदर्शन किया जाएगा।
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